लोकसभा चुनाव 2024 बेहद दिलचस्प रहा. भाजपा के नेतृत्व वाले एनडीए ने सरकार बनाई. वहीं 10 साल में पहली बार विपक्ष भी प्रभावी रूप से अस्तित्व में आया, लेकिन एक बात तो समझ में आई कि जाती और समुदाय पर आधारित इस राजनीति को नहीं समझा जा सकता.
सीएसडीएस-लोकनीति के चुनाव के बाद के सर्वे ने इस बारे में तीन चीजें स्पष्ट की हैं. पहली ये की भाजपा किसी तरह अपने वोटरोंं के निर्वाचन क्षेत्रों में हिंदू, ओबीसी और आदिवासी के साथ-साथ कुछ हद तक दलितों को बचाने में कामयाब रही.
हालांकि, विपक्ष ने उत्तर प्रदेश जैसे कुछ प्रमुख राज्यों में भाजपा को कमजोर किया हुआ था. उदाहरण के तौर पर ब्राह्मणों ने तो भाजपा को वोट दिया, हां थोड़ा हिस्सा जरूर विपक्ष की ओर चला गया. हिंदू ओबीसी और हिंदू आदिवासी मतदाताओं ने भाजपा का भारी समर्थन किया.
इस सर्वे से ये पता चला कि जमीनी स्तर पर पार्टी की हिंदुत्व-संचालित सबाल्टर्न पहुंच ने राष्ट्रीय स्तर पर अच्छा काम किया. वहीं भाजपा द्वारा शुरू की गई कल्याणकारी योजनाओं को अच्छी प्रतिक्रिया मिली और इसने चुनाव में बहुत सहायता दी.
Published at : 10 Jun 2024 10:38 AM (IST)