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UP By Elections 2024 Chandra Shekhar Azad Vs Mayawati Fight For Dalit Vote Bank Between BJP SP BSP - Supreme News247

UP By Elections 2024 Chandra shekhar azad vs Mayawati fight for Dalit vote bank between BJP SP BSP

UP By Elections 2024 Chandra shekhar azad vs Mayawati fight for Dalit vote bank between BJP SP BSP


बहुजन समाज पार्टी प्रमुख चंद्रशेखर आजाद ने भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर आजाद से किनारा कर लिया है। कांग्रेस चुनाव में चंद्रशेखर समाजवादी पार्टी सुप्रीमो अखिलेश यादव के पास भी गए थे, लेकिन वहां बात न बनने पर चंद्रशेखर अकेले चुनाव में उभरे और मजबूत जीत हासिल की।

अब चंद्रशेखर आजाद ने किसी भी पार्टी से गठबंधन करने से साफ इनकार कर दिया है। उन्होंने कहा कि वह बिना किसी गठबंधन के ही उत्तर प्रदेश में चुनाव लड़ेंगे। क्योंकि जनता का भरोसा सभी चुनावों से उठता है।  चंद्रशेखर का कहना है कि उनकी पार्टी नए लोगों को मौका देगी।

अब चंद्रशेखर आजाद ने किसी भी पार्टी से गठबंधन करने से साफ इनकार कर दिया है। उन्होंने कहा कि वह बिना किसी गठबंधन के ही उत्तर प्रदेश में चुनाव लड़ेंगे। क्योंकि जनता का भरोसा सभी चुनावों से उठता है। चंद्रशेखर का कहना है कि उनकी पार्टी नए लोगों को मौका देगी।

कांग्रेस चुनाव में नगीना सीट जीतने के बाद ही चंद्रशेखर आजाद ने 10 विधानसभा सीटों पर होने वाले उप चुनाव में उतरने का ऐलान किया था।  जिन 10 विधानसभा सीटों पर चुनाव हो रहे हैं, उनमें से चार विधानसभा सीटें खैर, मीरापुर, कुरंदकी और गाजियाबाद पर आजाद समाज पार्टी ने नियुक्ति भी कर दी है।

कांग्रेस चुनाव में नगीना सीट जीतने के बाद ही चंद्रशेखर आजाद ने 10 विधानसभा सीटों पर होने वाले उप चुनाव में उतरने का ऐलान किया था। जिन 10 विधानसभा सीटों पर चुनाव हो रहे हैं, उनमें से चार विधानसभा सीटें खैर, मीरापुर, कुरंदकी और गाजियाबाद पर आजाद समाज पार्टी ने नियुक्ति भी कर दी है।

चाहे चंद्रशेखर आजाद दोनों ने ही किसी भी राजनीतिक दल से गठबंधन करने से इनकार कर दिया है। इस उप चुनाव में मिल्कीपुर विधानसभा सीट में दिलचस्प लड़ाई देखने को मिल सकती है। मिल्कीपुर समाजवादी पार्टी की खास सीट है क्योंकि यहां के विधायक अवधेश प्रसाद अब सांसद बन चुके हैं।  ऐसे में चंद्रशेखर आजाद और मुलायम सिंह यादव इसी रणनीति पर काम कर रहे हैं कि कैसे समाजवादी पार्टी से मिल्कीपुर की सीट को छीना जाए।

चाहे चंद्रशेखर आजाद दोनों ने ही किसी भी राजनीतिक दल से गठबंधन करने से इनकार कर दिया है। इस उप चुनाव में मिल्कीपुर विधानसभा सीट में दिलचस्प लड़ाई देखने को मिल सकती है। मिल्कीपुर समाजवादी पार्टी की खास सीट है क्योंकि यहां के विधायक अवधेश प्रसाद अब सांसद बन चुके हैं। ऐसे में चंद्रशेखर आजाद और मुलायम सिंह यादव इसी रणनीति पर काम कर रहे हैं कि कैसे समाजवादी पार्टी से मिल्कीपुर की सीट को छीना जाए।

गुजरात युद्ध तो उन इलाकों पर भी देखने को मिल सकता है, जहां पर मुस्लिम आबादी ज्यादा है। कांग्रेस चुनाव में प्रदर्शन के बाद कई फैसले लिए गए हैं कि आगे से मुस्लिम परंपराओं को टिकट देने के बारे में नई सोच से सोचा जाएगा।  वहीं भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर आजाद न केवल मुसलमानों के लिए बल्कि मुसलमानों के लिए भी आवाज उठा रहे हैं।

गुजरात युद्ध तो उन इलाकों पर भी देखने को मिल सकता है, जहां पर मुस्लिम आबादी ज्यादा है। कांग्रेस चुनाव में प्रदर्शन के बाद कई फैसले लिए गए हैं कि आगे से मुस्लिम परंपराओं को टिकट देने के बारे में नई सोच से सोचा जाएगा। वहीं भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर आजाद न केवल मुसलमानों के लिए बल्कि मुसलमानों के लिए भी आवाज उठा रहे हैं।

यह तो स्पष्ट दिख रहा है कि चंद्रशेखर आजाद तेजी से उत्तर प्रदेश में ऊपर आ रहे हैं। धीमी ही गति से वोट बैंक घटता जा रहा है. इसका उदाहरण तो साफ-साफ नगीना सीट है। कांग्रेस चुनाव में नगीना सीट पर चंद्रशेखर आजाद को 51.19 वोट मिले थे और सुरेंद्र पाल को 1.33 फीसदी वोट मिले थे। अंतर सबके सामने है.  अखिलेश यादव की तरह जाटव वोटर भी भाजपा की तरफ नहीं गए हैं।

यह तो स्पष्ट दिख रहा है कि चंद्रशेखर आजाद तेजी से उत्तर प्रदेश में ऊपर आ रहे हैं। धीमी ही गति से वोट बैंक घटता जा रहा है. इसका उदाहरण तो साफ-साफ नगीना सीट है। कांग्रेस चुनाव में नगीना सीट पर चंद्रशेखर आजाद को 51.19 वोट मिले थे और सुरेंद्र पाल को 1.33 फीसदी वोट मिले थे। अंतर सबके सामने है. अखिलेश यादव की तरह जाटव वोटर भी भाजपा की तरफ नहीं गए हैं।

यूपी में दलित वोटर की संख्या 21.1 फीसदी है, जबकि इसमें जाटव वोटर की संख्या 11.7 फीसदी है। विनाशकारी और चन्द्र आजाद दोनों ही इस समुदाय से आते हैं।  पहले सम्पूर्ण समाजवादी पार्टी को समर्थन प्राप्त था, लेकिन क्षण भर के लिए उनके पास सिर्फ जाटव वोटर ही रह गए थे, लेकिन अब तो चंद्रशेखर आजाद जाटव वोटर के अनुसार ही चुनाव में ताल ठोक रहे हैं और कोशिश कर रहे हैं कि अब सम्पूर्ण समाजवादी पार्टी उनके समर्थन में खड़ी है। समाज ही चंद्रशेखर आजाद को समर्थन दे.

यूपी में दलित वोटर की संख्या 21.1 फीसदी है, जबकि इसमें जाटव वोटर की संख्या 11.7 फीसदी है। विनाशकारी और चन्द्र आजाद दोनों ही इस समुदाय से आते हैं। पहले सम्पूर्ण समाज को समर्थन था, लेकिन क्षण भर के साथ उनके पास सिर्फ जाटव वोटर ही रह गए थे, लेकिन अब तो चंद्रशेखर आजाद जाटव वोटर के अनुसार ही चुनाव में ताल ठोक रहे हैं और कोशिश कर रहे हैं कि अब सम्पूर्ण समाज उनका समर्थन करे। समाज ही चंद्रशेखर आजाद को समर्थन दे.

प्रकाशित समय : 10 जुलाई 2024 06:38 PM (IST)

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